पर्यटन और राफ्टिंग व्यवसाय में कौशल विकास क्षमता बढ़ाने को 12 दिवसीय कार्यशाला आयोजित

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  • ऋषिकेश के तपोवन शिवांश ग्रीन ग्रांड होटल में आयोजित की जा रही है कार्यशाला

वाचस्पति रयाल@नरेन्द्रनगर।
गंगा नदी राफ्टिंग प्रबंधन समिति एवं धर्मानंद उनियाल राजकीय महाविद्यालय नरेंद्रनगर के संयुक्त तत्वाधान में ऋषिकेश के तपोवन स्थित शिवांश ग्रीन ग्रांड होटल में पर्यटन व राफ्टिंग व्यवसाईयों में कौशल विकास क्षमता को बढ़ावा देने के मकसद से 12 दिवसीय कार्यशाला आयोजित की जा रही है।

पर्यटन व राफ्टिंग गाइड्स के कौशल विकास क्षमता बढ़ाने के मकसद से प्रदेश भर में इस तरह की आयोजित की जा रही यह पहली कार्यशाला है। जिसका उद्घाटन कार्यक्रम के मुख्य अतिथि व जाने माने प्रसिद्ध पर्यटन विद् प्रो० एस सी बागड़ी व कार्यक्रम में आए हुए विशिष्ट अतिथियों ने सरस्वती के चित्र का अनावरण व दीप प्रज्वलन के साथ किया।

इस मौके पर बतौर मुख्य अतिथि अपने संबोधन में प्रो०एस सी बागड़ी ने कहा कि उत्तराखंड में पर्यटन एवं साहसिक पर्यटन को उच्च स्तरीय व्यवसायिकता एवं ह्यूमन इंजीनियरिंग से जोड़कर टूरिज्म की ब्रांड इमेजिंग करने की जरूरत है। व्यवसाययों को संबोधित करते हुए प्रो० बागडी ने इस बात पर जोर दिया कि समय-समय पर व्यवसायियों के प्रशिक्षण एवं ड्रेस कोड की व्यवस्था होने से, इस व्यवसाय को और प्रभावी व रुचिकर बनाने में बहुत हद तक मदद मिलेगी, उन्होंने गाइड्स को उत्तराखंड के देवस्थानों, पर्यटन स्थलों तथा संसाधनों की जानकारी होने की आवश्यकता पर भी जोर दिया।

प्रो० बागड़ी ने ‘गंगा नदी राफ्टिंग प्रबंधन समिति’को रीवर राफ्टिंग गाइड बुक ,उत्तराखंड की हस्तशिल्प की शो-विंडो ,पर्यावरण के क्षेत्र में कार्य करने तथा एनुअल कन्वेंशन आयोजित करने के भी महत्वपूर्ण सुझाव दिये। इस मौके पर जिला साहसिक पर्यटन अधिकारी कुशाल सिंह नेगी ने कहा कि इस कार्यशाला और प्रशिक्षण का मुख्य उद्देश्य राफ्टिंग व्यवसायियों के ज्ञान अनुभव को और अधिक बढ़ाना एवं उनकी समस्याओं से अवगत होना है, ताकि उनके निराकरण का समाधान ढूंढा जा सके।

एच एन बहुगुणा गढ़वाल केंद्रीय विश्वविद्याल के प्रो० आरके ढोडी ने कहा कि हमारा उद्देश्य क्वालिटी राफ्ट सर्विसेज देना होना चाहिए।
उन्होंने गाइड्स के लिए सत्य पर आधारित स्थानीय संस्कृति एवं प्रकृति की जानकारी होने को भी आवश्यक बताया।
जबकि डॉ सर्वेश उनियाल ने देवभूमि की प्रकृति व संस्कृति के अनुसार व्यवहार परिवर्तन के अनुकूल विशिष्ट व्यवहारिकता के साथ राफ्टिंग व्यवसाय के संचालन पर जोर दिया।

गंगा नदी राफ्टिंग प्रबंधन समिति के अध्यक्ष दिनेश भट्ट ने भी राफ्टिंग के क्षेत्र में उच्च कोटि की व्यवसायिकता एवं सुविधाओं को मुहैय्या कराने पर जोर दिया। कार्यशाला में राफ्टिंग व्यवसायियों ने विशेषज्ञों से कई महत्वपूर्ण विषयों पर जानकारियां हासिल की। इससे पूर्व कार्यक्रम के संरक्षक व धर्मानंद उनियाल महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो० आर के उभान ने अतिथियों एवं प्रतिभागियों का स्वागत किया।

इस अवसर पर कार्यशाला समन्वय-समिति ने सभी अतिथियों को स्मृति चिन्ह प्रदान कर सम्मानित किया।
कार्यक्रम का संचालन नोडल अधिकारी डॉ संजय महर तथा डॉ विजय प्रकाश भट्ट ने संयुक्त रूप से करते हुए,सभी अतिथियों एवं प्रतिभागियों को धन्यवाद ज्ञापित किया।

इस अवसर पर कार्यशाला समन्वय समिति के डॉ हिमांशु जोशी, डॉ विक्रम सिंह बर्त्वाल, विपेंद्र नारायण कोटियाल, राकेश जोगी, मुनींद्र कश्यप,विशाल त्यागी, शिशुपाल रावत,अजय पुंडीर के अलावा बड़ी संख्या में राफ्ट ऑनर्स तथा गाइड्स मौजूद रहे।

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